Republic Day Speech in Hindi 2023, गणतंत्र दिवस पर भाषण हिंदी में: गणतंत्र दिवस पर भाषण हिंदी में कैसे लिखें, ये हम आज अपने आर्टिकल के माध्यम से आपको बताएंगे की कैसे आप 26 जनवरी गणतंत्र दिवस
अंग्रेजी हुकूमत से आजादी मिलने के बाद 26 जनवरी 1950 को 10 बजकर 18 मिनट पर हमारे देश का संविधान बना था जिसमें नागरिकों के लिए मौलिक अधिकार बनाये गए थे। साथ ही देश को चलाने हेतु अन्य नियम कानून बनाये गए थे। वर्ष 2023 में हम अपना 74वां गणतंत्र दिवस मनाने जा रहे है।

हम हर वर्ष अपना गणतंत्र दिवस बड़े ही धूम धाम से मनाते हैं। इस दिन राष्ट्रीय स्तर पर छुट्टी होती है। स्कूल हो चाहे कॉलेज या कोई संस्था हो Republic Day मनाया जाता है। 26 जनवरी को स्कूल में बड़े स्तर पर प्रतियोगिताएं और कार्यक्रमों का आयोजन किया जाता है।
26 January Speech in Hindi
माननीय अतिथिगण, शिक्षक वर्ग, मित्रगण और मेरे भाई बहनों आप सभी को गणतंत्र दिवस की हार्दिक शुभकामनायें। मेरा नाम …….. है। और मै कक्षा ….. में पढ़ता/पढ़ती हूँ। या मै एक शिक्षक हूँ। अपने भाषण की शुरुआत उन सभी को नमन करते हुए करेंगे जिन्होंने अंग्रेजो से संघर्ष करते हुए बलिदान दे दिया। आज गणतंत्र दिवस के उपलक्ष्य में हम सब यहां एकत्रित हुए हैं और मुझे गर्व है की मै भारत का एक नागरिक हूँ। भारत के वे सभी नायक जिन्होंने हमें आजादी दिलाने में अपनी कुर्बानी दे दी आज उनको याद करते हुए उनको श्रद्धांजलि देते हुए हम आज गणतंत्र दिवस को मनाएंगे। अजा के इस दिवस पर मैं आपसे इस दिन के बारे में कुछ महत्वपूर्ण बातें बताना चाहता हूँ। हम रिपब्लिक डे मना रहे हैं तो हमें आज के दिन, संविधान के इतिहास के बारे में सम्पूर्ण जानकारी होनी आवश्यक है।
आज हम यहां पर सभी एकत्रित होकर अपना 72 वां गणतंत्र दिवस मना रहे हैं। आज का दिन भारत गणतंत्र रूप में घोषित किया गया था। हमारे देश को स्वतंत्र करने के लिए बहुत से महापुरुषों ने संघर्ष करते करते अपनी कुर्बानी दे दी। और ये दिन इतिहास के लिए काफी महत्वपूर्ण माना गया है। हमारा देश 200 वर्षों के बाद अंग्रेजी हुकूमत से आजाद होने के बाद 26 जनवरी 1950 को हमारा संविधान लागू किया गया ताकि देश के सभी नागरिकों को अधिकार प्राप्त हो सके। और संविधान में सभी नियम,कानून बनाये गए। जिससे की सुचारु रूप से लागू भी कर दिया गया। जिससे आज ही के दिन हमारा भारत डेमोक्रेटिव रिपब्लिक बना था। गणतंत्र का अर्थ होता है जनता का जनता के द्वारा शासन। यानी की जनता खुद ही अपने नेता का चयन कर सकती है। जनता के कहने पर ही चयनित नेता कार्य करेगा। जिन सेनानियों ने हमें अपना स्वराज्य वापस दिलाया है आज उन्ही की बदौलत से हम आजाद है हम पर कोई भी जबरन काम करने के लिए दबाव नहीं डाल सकते।
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गणतंत्र दिवस पर निबंध (essay on 26 january)
प्रस्तावना -गणतंत्र दिवस हर साल 26 जनवरी को बड़ी ही धूमधाम से मनाया जाता है। यही वह दिन है जब भारत का संविधान लागू हुआ था। इसी दिन ब्रिटिश कानूनों के चुंगल से भारतीयों को आजादी मिली थी और हमारा अपना संविधान लागू किया गया था। भारतीय संविधान के देश में लागू होने के बाद भारत एक लोकतान्त्रिक देश बना। इसी लोकतंत्र को आज हम सभी 26 जनवरी को एक त्यौहार के रूप में सेलिब्रेट करते हैं।
पूर्ण स्वराज (Complete independence)
26 जनवरी 1930 को भारतीय कांग्रेस द्वारा पूर्ण स्वराज की घोषणा की गयी। लाहौर अधिवेशन में यह प्रस्ताव पेश किया गया था की अंग्रेजी हुकूमत द्वारा 26 जनवरी 1930 को भारत को डोमिनियन का दर्जा दिया जायेगा यदि ऐसा नहीं किया जाता है तो भारत स्वयं को पूरी तरीके से स्वतंत्र घोषित कर लेगा। ब्रिटिश हुकूमत द्वारा इस ओर ध्यान नहीं दिया गया न ही उन्होंने इसका कोई निर्णय लिया। इसके परिणाम स्वरुप भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस ने 26 जनवरी 1930 को पूर्ण स्वराज घोषित किया। स्वराज्य की अभिलाषा कविता जोकि मैथलीशरण गुप्त द्वारा रचित है वह भी स्वराज के महत्त्व को दर्शाती है। उसकी कविता की कुछ पंक्तियाँ इस प्रकार हैं –
”कभी न नैतिक घातें होंगी, मुक्त मानसिक बातें होंगी;
विधि-विधान मे फिर निजत्व का हमको अटल गर्व होगा।
पक्षपात, मतभेद न होगा ग्लानि न होगी, खेद न होगा;
न्याय-सभाओं में विचार का प्रकटित पुण्य पर्व होगा॥”
26 जनवरी किसी त्यौहार से कम नहीं इस दिन देश के सभी स्कूल ,कॉलेज और दफ्तरों में इसे बड़े ही उत्साह के साथ मनाया जाता है।
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